कीर्ति चक्र अवॉर्ड

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कीर्ति चक्र अवॉर्ड

कीर्ति चक्र अवॉर्ड क्या है :-
कीर्ति चक्र भारत का शांति के समय वीरता का पदक है। यह सम्मान सैनिकों और असैनिकों को असाधारण वीरता या प्रकट शूरता या बलिदान के लिए दिया जाता है। यह मरणोपरान्त भी दिया जा सकता है। वरियता मे यह महावीर चक्र के बाद आता है।
वीरता पुरस्कार 2018: 25 जनवरी को गणतंत्र दिवस की पूर्व संध्या पर कुल 390 वीरता पुरस्कार 2018 की घोषणा की गई। भारतीय वायु सेना के गरुड़ कमांडो ज्योति प्रकाश निराला को मरणोपरांत अशोक चक्र से सम्मानित किया जाएगा। वहीं, मेजर विजयंत बिष्ट को कीर्ति चक्र से सम्मान देने की घोषणा की गई।

कीर्ति चक्र अवॉर्ड का इतिहास :-
कीर्ति चक्र की शुरूआत शौर्य के कारनामे को सम्मानित करने के लिए 04 जनवरी 1952 को अद्गाोक चक्र श्रेणी-प्प् के रूप में की गई। 27 जनवरी 1967 को इसका नाम बदल कर कीर्ति चक्र कर दिया गया।
यह पदक गोलाकार होता है और स्टैंडर्ड चांदी का बना हुआ है, इसका व्यास 1.375 इंच है। इस पदक के सामने के हिस्से के बीच में अद्गाोक चक्र बना हुआ है जिसके चारों ओर कमल के फूलों की बेल बनी हुई है। इसके पीछे वाले हिस्से पर हिंदी और अंग्रेजी में ‘कीर्ति चक्र’ खुदा हुआ है और हिंदी व अंग्रेजी के शब्दों के बीच कमल के दो फूल बने हुए हैं। इसका फीता हरे रंग का होता है जिस पर नारंगी रंग की दो सीधी रेखाएं बनी होती हैं, ये रेखाएं फीते को तीन बराबर हिस्सों में विभाजित करती हैं।
यदि चक्र विजेता बहादुरी के ऐसे ही कारनामे का फिर से प्रदर्द्गान करता है, जिसके कारण वह चक्र प्राप्त करने का पात्र हो जाता है तो बहादुरी के इस कारनामे को सम्मानित करने के लिए चक्र जिस फीते से लटका होता है, उसके साथ एक बार लगा दिया जाता है। यदि केवल फीता पहनना हो तो यह पदक जितनी बार प्रदान किया जाता है, उतनी बार के लिए फीते के साथ इसकी लघु प्रतिकृति लगाई जाती है।

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कीर्ति चक्र अवॉर्ड में क्या दिया जाता है :-
मेडल गोलाकार और स्टैण्डर्ड सिल्वर निर्मित, 1.38 इंच का व्यास है । इस मेडल के अग्र भाग पर केन्द्र में अशोक चक्र की प्रतिकृति उत्कीर्ण है जो कमल माला से घिरी हुई है । इसके पश्च भाग पर हिन्दी और अंग्रेजी दोनों में कीर्ति चक्र उत्कीर्ण है, और ये रूपान्तरण कमल के दो फूलों द्वारा अलग-अलग हो रहे हैं ।
फीता दो नारंगी खड़ी लाइनों द्वारा तीन बराबर भागों में विभाजित हरे रंग का फीता |
यदि कोई चक्र प्राप्तकर्ता ऐसी वीरता का कार्य पुनः करता है जो उसे चक्र प्राप्त करने के लिए पात्र बनाएगा तो फीते को जोड़े जाने के लिए ऐसे और वीरता के कार्य की पहचान बार द्वारा की जाएगी जिसके द्वारा चक्र संलग्न हो जाता है । प्रदत्त प्रत्येक बार के लिए लघुचित्र में चक्र की एक प्रतिकृति, इसे अकेले पहनते समय फीते के साथ शामिल की जाएगी ।

कीर्ति चक्र अवॉर्ड राष्ट्रपति द्वारा दिया गया :-
राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने सशस्त्र बलों की जांबाजी, अदम्य साहस और अपने कर्तव्य के पालन में अपना परम योगदान देने वाले सैनिकों को वीरता पुरस्कारों से सम्मानित किया। उन्होंने दो कीर्ति चक्र और 15 शौर्य चक्र प्रदान किए। इनमें से दो कीर्ति चक्र और दो शौर्य चक्र परम बलिदान देने वाले शहीदों को मरणोपरांत दिए गए।
भारतीय सशस्त्र बलों के सुप्रीम कमांडर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने मंगलवार को राष्ट्रपति भवन में आयोजित कार्यक्रम में एक दुर्लभ घटना के तौर पर 16 साल के इरफान रमजान शेख को भी शौर्य पुरस्कार से सम्मानित किया। नाबालिग इरफान ने वर्ष 2017 में अपने घर पर हुए आतंकियों के हमले को नाकाम किया था। राष्ट्रपति ने सीआरपीएफ की 130वीं बटालियन में कांस्टेबल प्रदीप कुमार पांडा और राष्ट्रीय राइफल्स की 22वीं बटालियन के आर्मर्ड कॉ‌र्प्स के सोवर विजय कुमार को मरणोपरांत कीर्ति चक्र से सम्मानित किया।
रक्षा मंत्रालय ने एक बयान जारी कर बताया कि पांडा को यह वीरता पुरस्कार दिसंबर, 2017 में जम्मू और कश्मीर के लेथपोरा कैंप में आतंकियों से लड़ते हुए शहादत पाई थी। इसीतरह विजय कुमार को यह पुरस्कार अगस्त, 2018 में राज्य के दारसू गांव में दो खूंखार आतंकियों को खत्म करने पर मरणोपरांत प्रदान किया गया है। इसीतरह, राष्ट्रीय राइफल्स की 42वीं बटालियन की मैकेनाइज्ड इनफैंट्री में सिपाही अजय कुमार को मरणोपरांत शौर्य चक्र से सम्मानित किया गया। उन्होंने एक आतंकी को मारने और अपनी टीम की रक्षा करने में अदम्य साहस का परिचय दिया था।
असम राइफल्स की चौथी बटालियन के राइफलमैन जयप्रकाश ओरॉन ने मणिपुर में एक सैन्य अभियान के दौरान अत्यधिक साहस के साथ दो उग्रवादियों को मार गिराया था और दो अन्य को घायल कर दिया था। शौर्य चक्र से सम्मानित होने वाले अन्य वीर जवानों में मेजर पवन कुमार (राष्ट्रीय राइफल्स), कुलदीप सिंह चाहार (सीआरपीएफ), जिले सिंह (सीआरपीएफ), राइफलमैन रथ्व लीलेश भाई (असम राइफल्स) शामिल हैं। इसके अलावा, ऑल पैराशूट रेजिमेंट विशेष बल के ले.कर्नल विक्रांत प्राशेर, कैप्टन अभय शर्मा, मेजर रोहित लिंगवाल, नायब सूबेदार अनिल कुमार दहिया, हवलदार जावीद अहमद भट, हवलदार कुल बहादुर थापा को भी शौर्य चक्र प्रदान किया गया।
इसके अलावा, जाट रेजिमेंट के ले.कर्नल अर्जुन शर्मा, गोरखा राइफल्स के मेजर इमलियाकुम केत्जर को भी राष्ट्रपति के हाथों शौर्य चक्र प्रदान किया गया। राष्ट्रपति ने अपनी सेवाओं में विशिष्ट योगदान के लिए सशस्त्र बलों के वरिष्ठ अफसरों को भी 13 परम विशिष्ट सेवा पदक, दो उत्तम युद्ध सेवा पदक और 26 अतिविशिष्ट सेवा पदकों से सम्मानित किया गया है।

कीर्ति चक्र अवॉर्ड की राशि :-
यह पदक असाधारण शौर्य के कारनामे के लिए प्रदान किया जाता है, इसमें शुगमन का मुकाबला करना शामिल नहीं है। यह पदक मरणोपरांत भी प्रदान किया जाता है। 01.02.1999 से पदक विजेता को प्रति माह 2100/- रू० की राद्गिा प्रदान की जाती है और यह पदक जितनी बार प्रदान किया जाएगा, हर बार उतनी ही राद्गिा प्रदान की जाएगी, जितनी पहली बार पदक प्राप्त करने पर प्रदान की गई थी।

कीर्ति चक्र अवार्ड किस क्षेत्र में दिया जाता है :-
कीर्ति चक्र भारत का शांति के समय वीरता का पदक है। यह सम्मान सैनिकों और असैनिकों को असाधारण वीरता या प्रकट शूरता या बलिदान के लिए दिया जाता है। यह मरणोपरांत भी दिया जा सकता है। वरियता मे यह महावीर चक्र के बाद आता है। पदक: यह गोलाकार होता है और स्टैंडर्ड सिल्वर का बना होता है। इसका व्यास 1.38 ईंच होता है। दोनों किनारे पर इसके रिम होते हैं। पदक के अगले भाग में बीचोबीच में अशोक चक्र की प्रतिकृति उकेरी होती है जो एक कमल माला से घिरी रहती है। अंदर की ओर रिम के साथ कमल की पत्तियों, फूल और कलियों का एक पैटर्न होता है। इसके पिछले भाग में ‘कीर्ति चक्र’ हिंदी और इंग्लिश दोनों में उकेरा होता है। हिंदी और इंग्लिश में लिखा कीर्ति चक्र कमल के दो फूलों द्वारा अलग किया जाता है।फीता: एक हरे रंग के फीते से पदक लटकता रहता है। फीता दो खड़ी नारंगी लाइनों द्वारा तीन बराबर भाग में बांटा जाता है। बार: अगर कोई पुरस्कार प्राप्तकर्ता भविष्य में वीरता का कुछ ऐसा काम करता है जिससे कि वह शौर्य चक्र से सम्मानित होने का हकदार बन जाता है तो उस स्थिति में उनको एक बार से सम्मानित किया जाता है। बार एक फीते से जुड़ा होता है जिससे चक्र लटकता रहता है। भविष्य में वीरता के ऐसे जितने काम करेंगे, उतने बार मिलते जाएंगे। हर बार के साथ चक्र की एक छोटी सी प्रतिकृति प्रदान की जाती है जो एक फीते से जुड़ी होती है। यह अकेले पहनने के लिए होता है।
सेना, नौसेना और वायु सेना, किसी भी रिजर्व सेना, प्रादेद्गिाक सेना, नागरिक सेना (मिलिद्गिाया) और कानूनी रूप से गठित अन्य सद्गास्त्र सेना के सभी रैंकों के अफसर और पुरूषा व महिला सैनिक। सद्गास्त्र सेनाओं की नर्सिंग सेवाओं के सदस्य |
समाज के प्रत्येक क्षेत्र के सभी लिंगों के सिविलियन नागरिक और पुलिस फोर्स, केन्द्रीय पैरा-मिलिट्री फोर्स और रेलवे सुरक्षा फोर्स के कार्मिक।

कीर्ति चक्र अवॉर्ड विजेताओं की सूची :-
विनोद कुमार चौबे
राजेंद्र सिंह
कैप्टन दीपक शर्मा
राजेन्द्र बैनीवाल
रुखसाना कौसर
एजाज अहमद

Award Notes

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